बठिंडा: गुरुवार 02 अक्टूबर 2025
हिमाचल प्रदेश के मंडी क्षेत्र से भाजपा सांसद एवं फिल्म अभिनेत्री कंगना रनौत की मुश्किलें दिनों दिन बढ़ती ही जा रही हैं। पंजाब की बठिंडा कोर्ट ने कंगना रनौत की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें कंगना रनौत ने कोर्ट में स्वयं पेश होने की बजाय वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेशी की अनुमति मांगी थी।
बठिंडा कोर्ट के जज लखबीर सिंह ने अपने आदेश में कहा है कि कंगना रनौत की उक्त याचिका पोषणीय नहीं है ।अतः निरस्त की जाती है और आदेश किया जाता है कि कंगना रनौत को 27 अक्टूबर 2025 को व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में पेश हो। सन 2020 में मोदी सरकार द्वारा किसानों के विरुद्ध बनाए गए तीन काले कानूनों के विरोध में दिल्ली बॉर्डर पर धरना देने वाले किसानों के साथ जो किसान महिलाएं धरने पर बैठी थी उनके लिए कंगना रनौत ने जनवरी 21 में एक ट्वीट के माध्यम से कमेंट किया था कि वहां जो महिलाएं बैठी थी वह ₹100 लेकर बैठी थी ।

कंगना के इस बयान से आहत होकर 87 वर्षीय बुजुर्ग किसान महिला ने कंगना के विरुद्ध बठिंडा कोर्ट में धारा 499 धारा 500 अपमान करने के तहत प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया था। जिस पर गवाहों और सबूत के आधार पर बठिंडा कोर्ट ने कंगना रनौत को तलब करने का आदेश किए थे ।
लेकिन कंगना रनौत उस आदेश के विरुद्ध चंडीगढ़ हाई कोर्ट गई चंडीगढ़ हाई कोर्ट ने भी कंगना की याचिका को खारिज कर दिया। तब कंगना ने सुप्रीम कोर्ट में उक्त आदेश के विरुद्ध याचिका प्रस्तुत की लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने कंगना को डांटते कहा कि आप अपनी याचिका वापस लेती है या हमें कुछ करना पड़ेगा।
पंजाब हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट से निराश कंगना को राहत नहीं मिली तब कंगना ने बठिंडा कोर्ट से अपील की कि सुरक्षा कारणों को देखते हुए वह व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में हाजिर नहीं हो सकती हैं इसलिए उन्हें वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए से पेशी की अनुमति दी जाए ।लेकिन बठिंडा कोर्ट ने 29 सितंबर 25 को कंगना रनौत की उक्त याचिका खारिज करते हुए कंगना रनौत को कोई राहत नहीं दी। और 27 अक्टूबर 2025 को व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में हाजिर होने के आदेश किए हैं।
रमा शंकर शर्मा वरिष्ठ अधिवक्ता







